ग्रामीण क्षेत्रों में पांच हजार और शहरी क्षेत्रों में दस हजार रुपये प्रतिमाह दिया जाएगा आवास का मासिक किराया

राहत शिविरों में शरण लेने वाले परिवारों के लिए प्रदेश सरकार ने आवास किराए की घोषणा की

शिमला। मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने आज यहां बताया कि प्रदेश सरकार ने प्राकृतिक आपदा के दृष्टिगत राहत शिविरों में अस्थाई तौर पर रह रहे परिवारों को उपयुक्त आवासीय सुविधा प्रदान करने के लिए उन्हें आवास का निश्चित मासिक किराया उपलब्ध करवाने का प्रावधान किया है। इसके तहत ग्रामीण क्षेत्रों में राहत शिविरों में अस्थाई तौर पर रह रहे परिवारों को आवास किराए पर लेने के लिए पांच हजार रुपये प्रतिमाह और शहरी क्षेत्रों में राहत शिविरों में रह रहे परिवारों को दस हजार रुपये प्रतिमाह प्रदान किए जाएंगे।
योजना के तहत आवास की राशि उन परिवारों को प्रदान की जाएगी जो 12 सितम्बर, 2023 तक जिला प्रशासन द्वारा स्थापित राहत शिविरों में रह रहे हों। प्रभावित परिवार की सबसे वरिष्ठ महिला सदस्य को यह राशि प्रत्यक्ष लाभ हस्तातंरण के माध्यम से प्रदान की जाएगी। प्रभावित परिवार जब पुनः अपने घर या आवास में स्थानान्तरित होगा तब यह मासिक किराया राशि बंद कर दी जाएगी। यदि किसी परिवार को उपयुक्त आवास उपलब्ध नहीं होता है तो वह राहत शिविर में रहना जारी रख सकता है। यह योजना 31 मार्च, 2024 तक लागू रहेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में भारी बारिश के कारण प्रभावित हुए परिवारों को राहत प्रदान करने के लिए अस्थाई तौर पर कई जिलों में राहत शिविर स्थापित किए गए हैं। इनमें से बहुत से शिविर स्कूलों और मेक शिफ्ट आवास में स्थापित किए गए हैं। स्कूलों में शिविर स्थापित होने से बच्चों की पढ़ाई प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है। इसके दृष्टिगत प्रदेश सरकार ने अस्थाई शिविरों में शरण लेने वाले वाले परिवारों को उपुयक्त आवास किराए पर लेने के लिए प्रतिमाह निश्चित किराया प्रदान करने का निर्णय लिया है।

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